Shri Bhagwati Stotram: नवरात्रि में मां दुर्गा का आशीर्वाद पाने का एक सरल उपाय है वेद व्यास द्वारा रचित दुर्गा स्त्रोत ( Bhagwati Stotra ) या भगवती स्त्रोत का पाठ। नवरात्रि के दौरान इस स्तोत्र का पाठ करने से माता जगदंबा शीघ्र प्रसन्न होती हैं और भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण करती हैं।
नवदुर्गा कवच के अनुसार, भगवती स्त्रोत ( Bhagwati Stotram ) का पाठ करने वाले व्यक्ति पर बुरी शक्तियों का कोई प्रभाव नहीं पड़ता। इस स्तोत्र की महिमा अपार है। मान्यता है कि स्वयं भगवान श्रीकृष्ण ने भी मां दुर्गा को प्रसन्न करने के लिए इस स्तोत्र का पाठ किया था।
या देवी सर्वभूतेषु शक्तिरुपेण संस्थितः।
नमस्तस्यैः नमस्तस्यैः नमस्तस्यैः नमो नमः।।
॥ श्री भगवती स्तोत्रम् ॥
जय भगवति देवी नमो वरदे, जय पापविनाशिनी बहुफलदे ।
जय शुम्भनिशुम्भकपालधरे, प्रणमामि तु देवी नरार्तिहरे ।।1।।
जय चन्द्रदिवाकरनेत्रधरे, जय पावकभूषितवक्त्रवरे ।
जय भैरवदेहनिलीन हरे, जय अंधकदैत्यविशोषकरे ।।2।।
जय महिषविमर्दिनि शूलकरे, जय लोकसमस्तकपापहरे ।
जय भगवति देवी नमो वरदे, जय पापविनाशिनी बहुफलदे ।।3।।
जय षण्मुखसायुधईशनुते, जय सागरगामिनि शम्भुनुते ।
जय दुःखदरिद्रविनाशकरे, जय पुत्रकलत्रविवृद्धिकरे ।।4।।
जय भगवति देवी नमो वरदे, जय पापविनाशिनी बहुफलदे ।
जय देवि समस्तशरीरधरे, जय नाकविदर्शिनि दुःखहरे ।।5।।
जय व्याधिविनाशिनि मोक्षकरे, जय वांछितदायिनि सिद्धिवरे ।
जय भगवति देवी नमो वरदे, जय पापविनाशिनी बहुफलदे ।। 6।।
एतद्व्यासकृतं स्तोत्रं य: पठेन्नियतः शुचिः।
गृहे वा शुद्धभावेन प्रीता भगवती सदा॥